लेखनी कविता -09-Mar-2022 वार्षिक प्रतियोगिता हेतु - विश्वास
वार्षिक प्रतियोगिता हेतु
विषय :- विश्वास
शीर्षक :- खुद पर विश्वास
विधा :- स्वतंत्र विधा (पद्य)
नाम :- शिखा अरोरा
स्थान :- दिल्ली
विश्वास खुद पर कर ले बंदे,
खींच के रख उम्मीद के फंदे ,
डोर ये छूटने कहीं देना नहीं ,
न मांँग तू इसके लिए कहीं चंदे |
शक्ति तुझमें भरी है यहाँ अपार ,
कर सकता तू भी सबका उद्धार ,
रख ले अपने कर्मों पर तू भरोसा,
मत रख तू यहाँ किसी का उधार |
नीयत तुम अपनी साफ़ ही रखना ,
नहीं टूटेगा सुन ले बंधु तेरा टखना,
योगाभ्यास कर ले तू यहाँ पर पूरा ,
फिर जो चाहे दुनिया में तू चखना |
व्यवहार में तेरे आ जाएगी नरमी,
ज्ञान की तू बस गुरु से लेना गरमी,
कर्मों का लेखा जोखा ना बिगाड़,
बंदे ना तू जहां में दिखाना बेशर्मी |
अंधेरी राहों में सबके लिए दीपक जला ,
मुश्किलों से ही तू भी दुनिया में पला ,
सूरज से ले लो तुम रोशनी की किरण,
विश्वास से होगा जहां में सबका भला |
ईश्वर को तुम थोड़ा सा बस याद कर लो,
कुछ देर नाम उसका भी तुम जप लो,
भरोसा जो तेरा हो जाए उस खुदा पर,
प्रीत में फिर उसकी तुम तो गागर भर लो ||
शिखा अरोरा (दिल्ली)
Gunjan Kamal
11-Mar-2022 09:55 PM
बहुत खूब मैम
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Seema Priyadarshini sahay
10-Mar-2022 04:19 PM
अरेवाह मैम बहुत खूबसूरत
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Rekha mishra
09-Mar-2022 10:32 PM
Outstanding mam
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